गहलोत बनाम खट्टर मोनू मानेसर पर रार, राजस्थान DGP के बयान को बीजेपी ने लपका कांग्रेस ने दी सफाई

 

जयपुर : नूंह हिंसा के बाद हरियाणा के मुख्यमंत्री मनोहरलाल खट्टर और राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत राजस्थान के भरतपुर में बीते फरवरी में हुई नासिर व जुनैद की हत्या के मामले को लेकर एक बार फिर आमने सामने है. सीएम गहलोत लगातार हरियाणा सरकार पर इस हत्यकांड के आरोपी मोनू मानेसर समेत अन्य आरोपियों की गिरफ्तारी में अड़ंगा डालने का आरोप लगाते रहे हैं. वहीं दूसरी तरफ राजस्थान के डीजीपी की तरफ से मोनू मानेसर और हरियाणा पुलिस को लेकर दिए गए बयान ने गहलोत के सामने संकट खड़ा दिया है. अब बीजेपी गहलोत पर निशाना साध रही है कि वे तुष्टिकरण की सियासत कर रहे हैं. हरियाणा की नूंह हिंसा के बाद एक बार फिर से भरतपुर का नासिर जुनैद हत्यकाडं चर्चा में है. चर्चा की वजह है इस हत्यकांड के आरोपी मोनू मानेसर समेत 27 आरोपियों के अब तक पुलिस गिरफ्त से बाहर होना. राजस्थान के डीजीपी उमेश मिश्रा ने मुख्यमंत्री अशोक गहलोत के दावे के उलट कहा कि मोनू मानेसर का नासिर जुनैद हत्याकांड में हाथ नहीं है. उमेश मिश्रा ने कहा कि हरियाणा सरकार इस केस की जांच में मदद मांगने पर मदद कर रही है|

सीएम गहलोत का आरोप हरियाणा सरकार आरोपियों को संरक्षण दे रही है
डीजीपी उमेश मिश्रा के बयान ने गहलोत के सामने संकट खड़ा कर दिया है. अशोक गहलोत लगातार हरियाणा सरकार पर आरोप लगाते रहे कि मोनू मानेसर समेत नासिर जुनैद को 27 कातिलों को हरियाणा सरकार संरक्षण दे रही है. विवाद उस समय शुरू हुआ जब बीते 5 अगस्त को हरियाणा के मुख्यमंत्री एमएल खट्टर ने कहा कि मोनू मानेसर की गिरफ्तारी के लिए राजस्थान सरकार स्वतंत्र है. मोनू की गिरफ्तारी के लिए राजस्थान सरकार जो भी मदद चाहेगी हरियाणा सरकार करेगी|

खट्टर के बयान पर गहलोत ने किया पलटवार
खट्टर के इस बयान के बाद गहलोत ने ट्वीट कर पलटवार किया था. गहलोत ने कहा था कि राजस्थान पुलिस दो महीने तक हरियाणा में रही. इस दौरान मोनू मानेसर समेत आरोपियों की गिरफ्तारी के लिए जैसे ही छापेमारी करती वैसे ही आरोपी बच निकलते. इससे साफ है कि आरोपियों को हरियाणा सरकार का संरक्षण है. इसी वजह से मोनू मानेसर समेत 27 आरोपी अभी पकड़ से दूर हैं. अब बीजेपी ने गहलोत पर अटैक किया कि डीजीपी के बयान ने गहलोत के झूठ की पोल खोल दी. कांग्रेस ने सफाई दी है कि डीजीपी के बयान का गलत मतलब निकाला जा रहा है. हरियाणा सरकार के सहयोग नहीं करने से ही आरोपी पकड़े नहीं जा सके|

राजस्थान में इस साल के अंत में विधानसभा चुनाव होने हैं
राजस्थान में विधानसभा चुनाव की तैयारी चल रही है. हरियाणा का नूंह राजस्थान के भरतपुर व अलवर जिले की सीमा पर है. मेवात का आधा हिस्सा हरियाणा में और आधा राजस्थान के भरतपुर व अलवर में है. फरवरी में भरतपुर के घाटमिका गांव के नासिर और जुनैद की हत्या हरियाणा के भिवानी में कर दी गई थी. इसका आरोप मोनू मानेसर समेत 30 लोगों पर लगा है. इनमें से तीन आरोपियों को राजस्थान पुलिस गिरफ्तार कर चुकी है. लेकिन 27 अभी भी फरार है उनमें से एक मोनू मानेसर है|

अभी तक केवल तीन आरोपी पकड़े जा सके हैं
नूंह हिंसा के बाद ये मुद्दा फिर गरमा गया। मेवात मुस्लिम बहुल इलाका है। कांग्रेस को डर है कि कहीं नासिर जुनैद हत्याकांड की वजह से चुनाव में इस इलाके में मुस्लिम वोट बैंक न खिसक जाए। कांग्रेस के इस इलाके में तीन मुस्लिम विधायक हैं। इनमें से एक मंत्री। कांग्रेस को दूसरा डर है नूंह हिंसा के बाद मेवात में हिंदुओं का वोट बैंक बीजेपी की और खिसक सकता है. ये ही वजह है कि नूहं हिंसा और नासिर जुनैद पर गहलोत- खट्टर के बीच ट्वीटर वार चल रहा है|

Edited by : Switi Titirmare

 

 

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