गोरखपुर में अवैध संचालित हॉस्पिटल व क्लीनिक पर कार्यवाही कब?

गोरखपुर : मुख्यमंत्री के शहर गोरखपुर में अवैध क्लीनिक व अस्पताल का संचालन धड़ल्ले से हो रहा है। इन डॉक्टरों के चुंगल में फंसकर मरीज आए दिन अपनी जान गंवा रहे हैं। अहम बात यह है जिस अफसर पर इनकी निगरानी की जिम्मेदारी है वह एसी कमरों से बाहर नहीं निकल रहे हैं। अगर अवैध निर्मित हॉस्पिटल, नर्सिंग होम के स्थलीय सत्यापन किये जाएं तो सभी निर्धारित मानक के विपरीत अवैध संचालित किए जा रहे हैं।
शहर के प्रतिष्ठित व्यक्तियों द्वारा स्वस्थ्य विभाग व जीडीए को कठघरे में खड़ा करते हुए मुख्यमंत्री से ​शिकायत दर्ज कराने की बात कही गई है। आरोप है कि शहर में अस्पताल-क्लीनिक अवैध तरीके से चल रहे हैं। तमाम ​शिकायत के बाद भी स्वास्थ्य विभाग के अफसर जांच का हवाला देकर उसमें लीपापाेती कर रहे हैं। जिस पर जिम्मेदार लोक सेवक और बड़े मीडिया बैनर के साथ साथ शासकीय तंत्र खामोश व मूकदर्शक बने हुए हैं।

उपरोक्त के क्रम में वरिष्ठ भाजपा नेता रमाकांत पांडे “राजू” ने कहा कि गोरखपुर में अवैध रूप से क्लीनिक और अस्पताल संचालित होने के कई मामले उजागर हो चुके हैं जिसमे मेडिकल रोड पर स्थित आरोग्य मंदिर के पास टीन शेड में संचालित सेंटर फॉर ब्रेन एंड स्पाइन जोकि पूर्णतया मानक के विपरीत है। जिसमें ओ पी डी,मेडिकल स्टोर,पैथोलॉजी, ईसीजी,मरीज भर्ती की सुविधा इत्यादि उपलब्ध है जबकि हॉस्पिटल मानक के विपरीत हैं।
उन्होंने कहा कि डॉ.सौरव श्रीवास्तव जोकि अपने आप को वरिष्ठ न्यूरो सर्जन बताते हैं उसके साथ साथ टीन शेड में धड़ल्ले व अवैध तरीके से सेंटर फॉर ब्रेन एंड स्पाइन चलाते हैं। श्री राजू ने जिम्मेदार अधिकारियों को चेतावनी देते हुए कहा कि अवैध निर्मित हॉस्पिटल, नर्सिंग होम इत्यादि पर जिम्मेदार लोक सेवक खामोश एवं मूकदर्शक क्यों बने हुए हैं यह अपने आप में एक सवाल पैदा करता है।
वरिष्ठ भाजपा नेता डी.एन सिंह का कहना है कि सूत्रों के हवाले से यह भी पता चला है कि सेंटर फॉर ब्रेन एंड स्पाइन जिस भूमि पर संचालित हो रहा है वह भूमि न्यायालय गोरखपुर में वाद लंबित होने के कारण यह जमीन विवादित भी है। वहीं आईकॉन हॉस्पिटल भी जो कि बगैर कई मानकों के विपरीत धड़ल्ले से चलाया जा रहा है
आखिर किसके रहमो करम पर यह हॉस्पिटल शहर के बीचो बीच संचालित हो रहे हैं?
तीसरी आंख मानवाधिकार संगठन के संत कबीर नगर जिला अध्यक्ष साहेब राम साहनी का कहना है कि सेंटर फॉर ब्रेन एंड स्पाइन व आईकॉन हॉस्पिटल सहित दर्जनोंभर हॉस्पिटलों के विरुद्ध सीएमओ, अपर स्वास्थ्य निदेशक, डीएम,कमिश्नर,जीडीए आदि को कार्रवाई के लिए पत्र भी दिया जा चुका है जबकि कार्रवाई शून्य के बराबर है। जबकि मीडिया द्वारा उपरोक्त मामला सीएमओ गोरखपुर को अवगत भी कराया गया था लेकिन करवाई करने के बजाए जिम्मेदार अधिकारी हाथ पर हाथ धरे बैठे हैं। अगर उपरोक्त मामले में कार्रवाई नहीं हुई तो आने वाले दिनों में मामला माननीय उच्च न्यायालय के समक्ष जनहित याचिका प्रस्तुत करने में कोई कसर नहीं छोड़ेंगे।

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